न्यूज स्टॉपेज डेस्क
केरल का नाम बहुत जल्द बदल सकता है। इसे नए नाम से जाना जाएगा। दरअसल मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने बुधवार को केरल विधानसभा में राज्य का नाम बदलने को लेकर प्रस्ताव पेश किया। यह प्रस्ताव पारित भी हो गया है। विधानसभा से प्रस्ताव पास होने के बाद इसे केंद्र सरकार के पास भेजा गया। इधर, सीएम पिनाराई ने विस में कहा कि ‘नियम 118 के तहत सदन में एक प्रस्ताव पेश किया जा रहा है। उन्होंने केंद्र सरकार से अनुरोध किया कि भारत के संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल सभी भाषाओं में हमारे राज्य का आधिकारिक नाम बदलकर नया नाम ‘केरलम’ किया जाए।
पक्ष-विपक्ष की सहमति से हुआ पास
विधानसभा में पेश किया गया यह प्रस्ताव सर्वसम्मति से पास हो गया। विपक्षी गठबंधन यूडीएफ (संयुक्त लोकतांत्रिक मोर्चा) ने भी इसे बिना किसी संशोधन या बदलाव के सुझाव को स्वीकार किया। विस में सीएम ने कहा कि मलयालम भाषा में इसे ‘केरलम’ कहा जाता है जबकि अन्य भाषाओं में इसे केरल कहा जाता है। उन्होंने कहा कि एक नवंबर से केरल में वैश्विक स्तर पर ‘केरलीयम’ मनाया जाएगा।
UCC के खिलाफ भी सर्वसम्मति से प्रस्ताव हुआ पारित
केरल विधानसभा ने मंगलवार को देश में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) लागू करने के फैसले के खिलाफ भी एक प्रस्ताव पास किया गया। यह प्रस्ताव भी सर्वसम्मति से पारित हुआ। पेश किए गए प्रस्ताव में कहा गया यूसीसी लागू करने के केंद्र सरकार के कदम पर , केरल विधानसभा चिंता और निराशा व्यक्त करती है। केंद्र सरकार की एकतरफा और जल्दबाजी की कार्रवाई को सदन ने संविधान के धर्मनिरपेक्ष चरित्र को खत्म करने वाला माना।
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