– फर्जी दवा माफियाओं की अब खैर नहीं, नकली दवाओं के सिंडिकेट पर करारा वार
न्यूज स्टॉपेज डेस्क
राज्य में दवा कंपनियों और मेडिकल स्टोर्स का कोई भी फर्जीवाड़ा बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। दवा एक अतिआवश्यक और संवेदनशील सामग्री है। इसके गलत या नकली प्रयोग से मरीज की जान जोखिम में पड़ सकती है, तथा उपचार में भी लाभ नहीं मिल पाता। अतः दवाओं की खरीद-बिक्री पर स्वास्थ्य विभाग की पूरी नजर है।ये बातें नामकुम स्थित लोक स्वास्थ्य संस्थान (IPH) सभागार में आयोजित हुई बैठक मे स्वास्थ्य मंत्री डॉ. इरफान अंसारी ने कही। बैठक में राज्य औषधि परीक्षण प्रयोगशाला और मानव संसाधनों की स्थिति की भी समीक्षा की गई।
फर्जी दवा कंपनियों पर होगी कार्रवाई
स्वास्थ्य मंत्री को जानकारी मिली है कि राज्य में कुछ फर्जी दवा कंपनियां सक्रिय हैं। इस पर गंभीरता दिखाते हुए मंत्री ने अधिकारियों को तत्काल जांच एवं छापेमारी करने का निर्देश दिया है।
एक क्लिक में मिले दवाओं की जानकारी
स्वास्थ्य मंत्री ने यह भी निर्देश दिया कि ऐसी प्रणाली विकसित की जाए जिससे सभी मेडिकल स्टोर्स में उपलब्ध दवाओं की जानकारी एक क्लिक में मिल सके। उन्होंने यह स्पष्ट किया कि बिना डॉक्टर की लिखित पर्ची के प्रतिबंधित दवाएं या कफ सिरप देना कानूनन अपराध है, और इसे सख्ती से लागू किया जाए।
दवा दुकानों की नियमित जांच अनिवार्य
सभी ड्रग इंस्पेक्टरों को निर्देश दिया गया है कि वे नियमित रूप से दवा दुकानों का निरीक्षण करें, दवाओं की गुणवत्ता और स्टॉक की जांच करें। यदि किसी दुकान में अनियमितता पाई जाती है तो संबंधित दुकानदार पर सख्त कार्रवाई की जाए। साथ ही, लापरवाही बरतने वाले औषधि निरीक्षकों के विरुद्ध भी कार्रवाई की जाएगी।
अधिकारियों को दिया गया निर्देश
स्वास्थ्य मंत्री ने औषधि निरीक्षकों से उनके द्वारा अब तक की गई कार्रवाइयों, छापेमारी और कार्य प्रणाली की विस्तृत जानकारी ली। उन्होंने यह भी बताया कि एक सप्ताह के भीतर फिर से समीक्षा बैठक की जाएगी, जिसमें सभी अधिकारी अद्यतन प्रगति प्रतिवेदन के साथ उपस्थित होंगे।
राज्य में उपलब्ध दवाओं पर पूछी जानकारी
डॉ. अंसारी ने औषधि निदेशक रितु सहाय से यह जानकारी भी ली कि राज्य में किन-किन दवाओं की उपलब्धता है और उन पर सरकार का क्या नियंत्रण है। साथ ही, उन्होंने दवाओं की गुणवत्ता परीक्षण की प्रक्रिया के बारे में भी जानकारी प्राप्त की।
नकली दवाओं के कारोबार पर सख्त कार्रवाई का आदेश
स्वास्थ्य मंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि नकली दवाओं के सिंडिकेट की पहचान कर उन पर कठोर कानूनी कार्रवाई की जाए। इस अवैध धंधे पर पूर्ण नियंत्रण सुनिश्चित किया जाए।